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भारत ने अंतर्राष्ट्रीय समुद्री संगठन परिषद के 134वें सत्र में समुद्री सुरक्षा और लैंगिक समावेशिता का उल्लेख किया

भारत ने अंतर्राष्ट्रीय समुद्री संगठन परिषद के 134वें सत्र में समुद्री सुरक्षा और लैंगिक समावेशिता का उल्लेख किया

भारत सरकार के पत्तन, पोत परिवहन और जलमार्ग मंत्रालय के सचिव, आईएएस श्री टी.के. रामचंद्रन के नेतृत्व में भारतीय प्रतिनिधिमंडल लंदन में आयोजित अंतर्राष्ट्रीय समुद्री संगठन (आईएमओ) परिषद के 134वें सत्र में भाग ले रहा है।

भारत ने सत्र के पहले दिन भारतीय जलक्षेत्र में संचालित विदेशी फ्लैग वाले कंटेनर जहाजों से जुड़ी समुद्री घटनाओं पर सशक्त और सैद्धांतिक वक्तव्य दिया। अघोषित जोखिमपूर्ण खतरनाक माल और संरचनात्मक एवं स्थिरता संबंधी समस्याओं के कारण हुई इन घटनाओं ने गंभीर सुरक्षा चिंताएं पैदा की हैं।

भारत ने अंतर्राष्ट्रीय समुद्री संगठन (आईएमओ) से कंटेनर जहाजों से जुड़ी ऐसी सभी घटनाओं की व्यापक जांच और वैश्विक समीक्षा करने का आग्रह किया। समुद्र में जीवन की सुरक्षा सुनिश्चित करने में भारतीय नौसेना और भारतीय तटरक्षक बल की सक्रिय भूमिका का हवाला देते हुए, भारत ने कंटेनर शिपिंग के लिए सुरक्षा ढांचे में तत्काल सुधार का आह्वान किया। भारतीय वक्तव्य में लिथियम-आयन बैटरियों और अंतर्राष्ट्रीय समुद्री परिवहन महामंडल (आईएमडीजी) कार्गो की पैकेजिंग, घोषणा, भंडारण और निगरानी से संबंधित अंतर्राष्ट्रीय प्रोटोकॉल को सुदृढ़ करने की आवश्यकता पर बल दिया गया।

भारत ने ऐसी घटनाओं में अंतर्राष्ट्रीय समुद्री संगठन के नेतृत्व में जांच की स्थापना का प्रस्ताव रखा, ताकि वैश्विक स्तर पर सर्वोत्तम विधियों के निर्माण, मानकीकरण में सुधार तथा परिचालन मानदंडों को मजबूत करने में मदद मिल सके और विश्व भर में कंटेनर जहाज संचालन की सुरक्षा सुनिश्चित हो सके।

भारत ने विचार-विमर्श के दौरान अंतर्राष्ट्रीय समुद्री संगठन (आईएमओ) की लैंगिक समावेशन रणनीति के अनुरूप लैंगिक समानता के एजेंडे में भी सक्रिय रूप से भाग लिया। भारतीय प्रतिनिधिमंडल ने 25 नवंबर 2024 को नौवहन महानिदेशालय द्वारा शुरू की गई राष्ट्रीय पहल “सागर में सम्मान” (समुद्र में सम्मान) पर प्रकाश डाला। इस ऐतिहासिक कार्यक्रम का उद्देश्य भारत के विज़न@2047 और अंतर्राष्ट्रीय समुद्री संगठन (आईएमओ) के रणनीतिक उद्देश्यों के अनुरूप, समुद्री यात्रा से लेकर नेतृत्वकारी भूमिकाओं तक महिलाओं को सशक्त बनाकर एक सुरक्षित, सम्मानजनक और समावेशी समुद्री इकोसिस्टम को बढ़ावा देना है।

भारत ने भारतीय महिला नाविकों की संख्या में 650 प्रतिशत की उल्लेखनीय वृद्धि की उपलब्धि को गर्व के साथ साझा किया, जो समुद्री क्षेत्र में समान अवसर पैदा करने के लिए देश की प्रतिबद्धता को दर्शाता है।

भारतीय प्रतिनिधिमंडल ने समुद्री सुरक्षा, पर्यावरण संरक्षण और वैश्विक समुद्री समुदाय के समावेशी विकास की दिशा में अंतर्राष्ट्रीय समुद्री संगठन (आईएमओ) के प्रयासों के प्रति अपने निरंतर समर्थन की पुष्टि की।