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रक्षा मंत्री और उनके रूसी समकक्ष ने नई दिल्ली में सैन्य एवं सैन्य-तकनीकी सहयोग पर 22वें भारत-रूस अंतर-सरकारी आयोग की सह-अध्यक्षता की

रक्षा मंत्री और उनके रूसी समकक्ष ने नई दिल्ली में सैन्य एवं सैन्य-तकनीकी सहयोग पर 22वें भारत-रूस अंतर-सरकारी आयोग की सह-अध्यक्षता की

रक्षा मंत्री श्री राजनाथ सिंह और रूस के रक्षा मंत्री श्री आंद्रेई बेलौसोव ने 4 दिसंबर, 2025 को नई दिल्ली के मानेकशॉ सेंटर में सैन्य एवं सैन्य-तकनीकी सहयोग पर भारत-रूस अंतर-सरकारी आयोग (आईआरआईजीसी-एमएंडएमटीसी) के 22वें सत्र की सह-अध्यक्षता की। दोनों पक्षों ने दोहराया कि भारत-रूस संबंध गहरे विश्वास, साझा सिद्धांतों और आपसी सम्मान पर आधारित हैं। यह बैठक प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी और रूस के राष्ट्रपति श्री व्लादिमीर पुतिन के बीच होने वाले 23वें भारत-रूस वार्षिक शिखर सम्मेलन से पहले हुई है।

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श्री राजनाथ सिंह ने ‘आत्मनिर्भर भारत’ की परिकल्पना के तहत स्थानीय उत्पादन और निर्यात दोनों के लिए भारत के स्वदेशी रक्षा उद्योग की क्षमता निर्माण के लिए भारत सरकार के दृढ़ संकल्प को व्यक्त किया। उन्होंने दोनों देशों के बीच विशिष्ट प्रौद्योगिकियों में सहयोग बढ़ाने के लिए नए अवसरों पर भी जोर दिया।

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रूस के रक्षा मंत्री ने दोनों देशों के बीच आपसी विश्वास पर आधारित संबंधों को और गहरा करने पर जोर दिया। उन्होंने रेखांकित किया कि दोनों देश कई वर्षों की मित्रता और रणनीतिक सहयोग से एकजुट हैं। उन्होंने कहा कि रूस के रक्षा उद्योग, भारत को रक्षा उत्पादन के क्षेत्र में आत्मनिर्भर बनने की दिशा में सहयोग देने के लिए तैयार है। मंत्री श्री बेलौसोव ने श्री राजनाथ सिंह को 2026 में आईआरआईसी-एमएंडएमटीसी के 23वें सत्र की सह-अध्यक्षता करने के लिए रूस आने का निमंत्रण भी दिया।

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अंत में, दोनों मंत्रियों ने चल रहे और भावी सहयोग के क्षेत्रों को रेखांकित करते हुए 22वीं आईआरआईजीसी-एमएंडएमटीसी बैठक के प्रोटोकॉल पर हस्ताक्षर किए।

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बैठक से पहले, रक्षा मंत्री और रूस के रक्षा मंत्री ने नई दिल्ली स्थित राष्ट्रीय समर स्मारक पर पुष्पचक्र चढ़ाया और राष्ट्र की सेवा में सर्वोच्च बलिदान देने वाले भारतीय वीरों को श्रद्धांजलि दी। इस अवसर पर, आगंतुक गणमान्य व्यक्ति ने औपचारिक ट्राई-सर्विस गार्ड ऑफ ऑनर का निरीक्षण भी किया।

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